Wednesday 6 September 2017

डोनाल्ड ट्रंप ने पाक की डबल गेम को बेनकाब किया

अमेरिका में जब से राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप आए हैं आतंकवाद का समर्थन करने वाला पाकिस्तान उनके निशाने पर है। ट्रंप ने आतंक पर पाकिस्तान के दोहरे खेल को बाखूबी बेनकाब किया है। अमेरिकी राष्ट्रपति ने स्वीकार किया है कि इस क्षेत्र (अफगानिस्तान) में सुरक्षा को लेकर उनके विचारों में बदलाव हुआ है और इसी कारण उन्होंने अपने सैनिकों की लगातार वापसी की समीक्षा शुरू कर दी है, क्योंकि यह गंभीर मामला है। अफगानिस्तान को लेकर अमेरिका की नई रणनीति में नया दृष्टिकोण दिखाई देता है। ट्रंप ने सैनिकों की तैनाती में संख्या का जिक्र तो नहीं किया है लेकिन स्पष्ट किया कि अमेरिका बिना किसी समय सीमा को निर्धारित किए वहां सैनिकों की संख्या बढ़ाएगा। अपने दो पूर्ववर्ती राष्ट्रपतियों (जॉर्ज बुश और बराक ओबामा) की तुलना में ट्रंप यह अच्छी तरह समझ गए हैं कि पाकिस्तान डबल गेम खेल रहा है। उन्होंने स्पष्ट रूप से यह मानने से इंकार कर दिया है कि पाकिस्तान अमेरिका का रणनीतिकार साझेदार है। जबकि वे यह मानते हैं कि पाकिस्तान अमेरिका का सहयोगी होने का ढोंग करता है और बदले में अमेरिका से भारी आर्थिक मदद हासिल करता है। इस राशि का वह उपयोग तालिबान और हक्कानी नेटवर्क के आतंकियों को सुरक्षित पनाहगाह मुहैया कराने में करता है, जबकि यही आतंकी अमेरिकी और अफगानी सेना पर हमले करते हैं। अफगानिस्तान-पाकिस्तान को लेकर अमेरिका की रणनीति में बदलाव करने की ट्रंप की घोषणा से पता चलता है कि पाकिस्तान को मिलने वाली आर्थिक मदद और सहयोग अब या तो बंद हो सकती है या शर्तों के साथ कम हो सकती है। ट्रंप ने इस बात के भी संकेत दिए हैं कि पाकिस्तान अब वह अमेरिका को भारत के साथ मजबूत रणनीतिक साझेदारी करने से नहीं रोक सकता। राष्ट्रपति ट्रंप की नीति परिवर्तन पर पाकिस्तान में जबरदस्त प्रतिक्रिया होना स्वाभाविक ही था। पाक की नेशनल असैम्बली में अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप और अफगानिस्तान में अमेरिकी कमांडर जैन जॉन डब्ल्यू निकोल्सन के खिलाफ एकमत से प्रस्ताव पारित कर अमेरिका को सीधी चुनौती दी है। ट्रंप और निकोल्सन के पाक को लेकर शत्रुतापूर्ण और धमकाने वाले बयान को खारिज करने वाले प्रस्ताव को नेशनल असैम्बली ने स्वीकार कर लिया। पाक सरकार से यह भी कहा गया कि अमेरिकी मदद नहीं मिलने से पैदा होने वाली किसी स्थिति से निपटने के लिए वह आर्थिक नीतियां तैयार करे। इससे पहले निचले सदन में भी यह प्रस्ताव सर्वसम्मति से पारित हो गया। पाकिस्तान ने विरोधस्वरूप ही अमेरिका के कार्यवाहक सहायक विदेश मंत्री (दक्षिण व मध्य एशिया) एलिस वेल्स के गत मंगलवार से होने वाले पाकिस्तान दौरे को भी रद्द कर दिया। अमेरिका के अफगानिस्तान रणनीति में भारत के सहयोग मांगने को लेकर भी पाकिस्तान परेशान है। यह खुशी की बात है कि ट्रंप ने पाक की डबल गेम को बेनकाब किया है।

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